विद्युत विभाग ने डकैती के लिए गठित कर रखी है स्पेशल-26 की टीम
विद्युत विभाग ने डकैती के लिए गठित कर रखी है स्पेशल-26 की टीम
- विद्युत विभाग ने अवैध वसूली के लिए लगा रखे गुंडे ?
- उपभोक्ताओं को लूटने में क्या डाकुओं से प्रतिस्पर्धा कर रहा विद्युत विभाग
- विद्युत विभाग उपभोक्ताओं की जेबों पर कैसे डाल रहा डाका पढें पूरी खबर
- वीडियो व कॉल रिकॉर्डिंग्स पर आधारित प्रमाणिक खबर, पढें कैसे विद्युत विभाग उपभोक्ताओं से कर रहा डकैती
राष्ट्र की बात सवांददाता
उन्नाव जिले में विद्युत विभाग के कर्मचारियों का खौफ डाकुओं से भी ज्यादा बढ गया है। लगभग हर दूसरे घर से किसी न किसी बहाने विभाग के कर्मचारी अवैध वसूली कर रहे हैं। ऐसी ही एक घटना को एक वरिष्ठ पत्रकार को पता चली तो पूरे घटनाक्रम का वीडियो बनाया गया। आंखों देखी व वीडियो में कैद घटना कुछ इस तरह की है।
ये घटना कुछ कुछ स्पेशल 26 मूवी से मेल खाती है। शायद इसी मूवी से प्रेरित होकर विद्युत विभाग ने उपभोक्ताओं की जेबों पर डाका डालने के लिए गिरोह गठित कर लिया है। स्वयं को विद्युत विभाग का कर्मचारी बता कुछ गुंडे सिविल लाइन्स स्थित एक घर में जाते हैं और मीटर पर ओवरलोड बता कनेक्शन काट देते हैं। साथ ही एक पुराने बिल पर 40 हजार रु का शमन शुल्क लिख उपभोक्ता को थमा देते हैं और शाम तक शमन शुल्क न जमा करने पर कोतवाली में मुकदमा पंजीकृत कराने की धमकी देता है। उपभोक्ता के गिडगिडाने पर विद्युत विभाग द्वारा उगाही के लिए लगाया गया यह गुंडा उसे त्रिपाठी बिल्डिंग के पास आने की बात कहता है। उपभोक्ता इसकी जानकारी उस वरिष्ठ पत्रकार को देता है जिस पर वह वरिष्ठ पत्रकार मोबाइल में वीडियो रिकार्डिंग ऑन कर मौके पर पहुंचते हैं तो विद्युत विभाग का यह गुंडा आधे घंटे में 20 हजार का इंतजाम न करने पर कोतवाली में मुकदमा लिखा जेल भेजने की धमकी देता है। हालांकि विभागीय गुंडे को शंका होती है कि वीडियो बन रहा है और वह टाइम देखने के बहाने मोबाइल चेक भी करता है लेकिन कुछ समझ नहीं पाता।
इनसेट
विद्युत विभाग के कर्मचारी उतरे पैरवी में
उन्नाव। वीडियो बनने के बाद समाचार पत्र के प्रतिनिधि ने उक्त गुंडे को फोन किया कि अवैध वसूली मत करो तो गुंडे ने विभाग के अपने आका को जानकारी दी। गुंडे के आका ने प्रतिनिधि को फोन कर हरदोई पुल के नीचे स्थित कमला बुक डिपो बुलाया जहां उक्त गुंडों ने अपनी अवैध वसूली में हिस्सेदारी देने की बात कही लेकिन प्रतिनिधि द्वारा इंकार करने पर विभागीय गुंडों ने कुछ गुंडों व एक संभ्रांत नागरिक से उनकी बात कराई जो प्रतिनिधि को जानते थे और विभागीय गुंडों की दाल न गल सकी। आखिरकार हार मानकर विभागीय गुंडों के अवैध वसूली के मंसूबों पर पानी फिर गया और उन्हें पीडित उपभोक्ता का पुनः कनेक्शन करना पडा।
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मुकदमे का भय दिखा आधे शहर को लूटा
उन्नाव। बिजली विभाग द्वारा डाली जा रही यह डकैती काफी समय से लगातार जारी है। उपभोक्ताओं के मीटर में कमी निकालना या अन्य कोई तकनीकी दांव पेंच बता मुकदमा लिखा जेल भेजने की धमकी देकर विभाग के यह गुंडे आधे शहर को लूट चुके हैं।
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कैसे करें बचाव
उन्नाव आरकेबी। विद्युत विभाग द्वारा नियुक्त किए गए ये डकैत चार-छः के झुंड में किसी भी घर पहुंच जाते हैं और कोई न कोई कमी निकाल सेटलमेंट के नाम पर उपभोक्ताओं की जेबों पर डाका डालते हैं। ऐसे में इनसे बचने का एक ही रास्ता है जब विभागीय गुंडे अवैध वसूली की रकम मांगे या अवैध तरीके से पुराने बिल पर शमन शुल्क लिखें तो उसका वीडियो बना तत्काल पुलिस को बुलाएं। उच्चाधिकारियों के मुताबिक उक्त कार्यवाही पूरी तरह अवैध है जिस पर रंगे हाथों पकडे जाने पर तत्काल इन गुंडों पर मुकदमा दर्ज हो जाएगा।
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दावत में शामिल हो रहे विद्युत विभाग के कर्मचारी
उन्नाव आरकेबी। विद्युत विभाग के गुंडों द्वारा प्रतिदिन वसूली जा रही हजारों की धनराशि का बंदरबांट शाम को ढाबों पर होता है जिनमें इन गुंडों के आका जो इनके फंसने पर सिफारिश करते हैं, शामिल होते हैं और घंटों अय्याशी का दौर चलता है।
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डकैती की ट्रेनिंग दे रहा विद्युत विभाग या कर रहा ट्रेंड डकैतों की भर्ती
उन्नाव आरकेबी। स्पेशल 26 की तर्ज पर डकैती डाल रहा विद्युत विभाग क्या इस डकैती की ट्रेनिंग देता है या एक्सपर्ट डकैतों की ही भर्ती कर रहा है। यह सवाल बिजली विभाग के डकैतों द्वारा पीडित उपभोक्ताओं के मन में गूंज रहा है।
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क्या ये गुंडे वास्तव में विभागीय कर्मचारी हैं
उन्नाव आरकेबी। लूटे गए उपभोक्ताओं के मन में एक और सवाल गूंजता है कि आखिरकार ये गुंडे विद्युत विभाग के वास्तव में कर्मचारी हैं। अगर हैं तो विभाग इनसे डाका क्यों डलवा रहा है अगर नहीं हैं तो कार्यवाही क्यों नहीं करा रहा।
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जेई, एसडीओ व अन्य अधिकारियों की कितनी हिस्सेदारी
उन्नाव आरकेबी। विद्युत विभाग के इन गुंडों की सिफारिश में जिस तरह से विद्युत विभाग का एक कर्मचारी फोन करने लगा उससे साबित होता है कि इस डकैती में जेई एसडीओ व अन्य अधिकारियों की हिस्सेदारी हो सकती है। अगर हिस्सेदारी नहीं है तो ये अधिकारी इन गुंडों पर कानूनी कार्यवाही क्यों नहीं कराते और अगर ये गुंडे विभाग के कर्मचारी हैं तो इन्हें निकाला क्यों नहीं जाता या अधिकारी अपने कमाऊ पूतों से मोह भंग नहीं कर पा रहे हैं।
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वीडियो व कॉल रिकॉर्डिंग जैसे साक्ष्यों के बाद विभाग अपने डकैतों पर क्या करेगा कार्यवाही
उन्नाव आरकेबी। विद्युत विभाग के डकैतों का चेहरा बेनकाब हो चुका है। ये डकैत उपभोक्ताओं को मुकदमे में फंसाने की धमकी देकर अवैध उगाही का प्रयास करते हैं जिसका वीडियो उपलब्ध है और विभागीय कर्मचारी फोन पर इन डकैतों की सिफारिश करता है जिसकी कॉल रिकॉर्डिंग है। अब देखना यह है कि विद्युत विभाग अपने कमाऊ डकैतों को कैसे बचाएगा।
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जनांदोलन का रुप न ले ले आक्रोश
उन्नाव आरकेबी। विद्युत विभाग विजिलेंस छापे व मीटर में गडबडी के नाम पर उपभोक्ताओं से रोज हजारों रुपए लूटता है लेकिन अब पानी सिर के ऊपर हो चुका है। उपभोक्ताओं के क्रोध का ज्वालामुखी किसी भी क्षण जनांदोलन का रुप ले सकता है।
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विभागीय डकैतों पर कब दर्ज होगा मुकदमा
उन्नाव आरकेबी। विद्युत विभाग आखिर अपने डकैतों को कब तक बचा पाएगा। आखिर मुकदमे का भय दिखाकर उपभोक्ताओं को लूटने वालो इन डकैतों पर कब मुकदमा दर्ज होगा।
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