गन्ने की फसलों में लगा सूखा रोग,किसान चिंतित...

बच्छराज सिंह मौर्य 


फतेहपुर | खागा तहसील क्षेत्र के विकास खण्ड विजयीपुर व धाता आदि ब्लाक क्षेत्र में गन्ने की खेती बहुतायत की जाती है। और इस वर्ष गन्ने की फसलों में सूखा रोग लग जाने के कारण किसान काफी चिंतित हैं। जिससे उनको परिवार चलाना भारी दिख रहा है। बता दें कि खागा तहसील क्षेत्र के पौली, खखरेरू ,गुरगौला, हरदासपुर सराफन, रक्षपालपुर आदि लगभग दर्जनों से अधिक गांवों में गन्ना की पैदावार से बना गुड़ गैर जिलों में प्रसिद्ध है


और इस वर्ष गन्ना में रोग लग जाने के कारण गन्ना की खेती से किसान मार खा गए । क्योंकि गन्ना सहारन, हापुर ,लोहाटन, हाथी झूल आदि गन्ना की फसल रोग लग जाने के कारण नष्ट हो गई। और क्षेत्र में अरली गन्ना की फसल नहीं सूखी है। जो अन्य गन्ना पुराना बीज होने के कारण पैदावार शून्य स्तर पर पहुंच गई है।वही खखरेरू निवासी आनंद मिश्रा उर्फ कल्लू मिश्रा ने बताया कि गन्ना की खेती से किसानों को खाद बीज पानी बच्चों की पढ़ाई आदि का खर्च आसानी से हो जाता रहा। और एक बीघा गन्ना में लागत लगभग 10 - 12000 लगाकर 25 - 30,000 रुपया का वार्षिक आय होती थी। परंतु इस वर्ष गन्ना में रोग लग जाने के कारण 2 से 3 फुट का गन्ना खेतों में खड़ा है ।जिसकी लागत नहीं आ रही है ।वही रामचंद्र सिंह चकिया गांव निवासी ने बताया कि गन्ना की खेती नष्ट होने से किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है ।जो कि के सी सी से लोन लेते समय बैंक बीमा राशि लेती है ।परंतु आज तक किसी भी कृषक को बीमा लाभ नहीं मिला ।वही राम कृपाल सिंह गुरगौला गांव निवासी ने बताया कि पुराना भीड़ होने के कारण पैदावार में कमी आ रही है ।जो कि गन्ना में रोग अधिक लग रहा है। दवा छिड़काव का कोई प्रभाव नहीं हो रहा है। और इन्होंने बताया कि इस बार गन्ना 2 से 3 फुट का है ।इससे एक बीघा में लगभग 4 से ₹5000 का अवसत निकल रहा है ।


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