यातायात पुलिस अधिकारीयों की मेहनत पर फिरता पानी

आधी से ज्यादा सड़क पर ऑटो और ई-रिक्शा का कब्ज़ा



प्रितपाल सिंह (संवाददाता)


लखनऊ। नाम है वी.आई.पी. रोड, स्थान है अवध हॉस्पिटल चौराहा, प्रमुख सड़कों की अगर बात करें तो एक तरफ कानपुर रोड, एक तरफ रायबरेली रोड एक तरफ आगरा एक्सप्रेस वे को जाती सड़क चंद किलोमीटर पर अमौसी एयरपोर्ट और एक तरफ आलमबाग जैसे व्यस्त रास्ते से होती हुई शहर के अंदर जाती सड़कहर समय थाना कृष्णा नगर और थाना मानक नगर की गाडी चौराहे पर तैनात पर अगर बात करें यातायात की तो वी.आई.पी. काफिलों के इलावा यहाँ सब कुछ आम ही नज़र आता है। इस सड़क का नाम भी वी.आई.पी. काफिलों के गुजरने की वजह से ही वी.आई.पी. रोड पड़ा था पर शहीद पथ बन जाने के बाद इसका रुतबा कम हो गया।



मोबाइल में व्यस्त होमगॉर्ड जवान, ज़ेबरा लाइन पर खड़ी कार



जहाँ यातायात पुलिस के अधिकारी दिन रात शहर की यातायात व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए मेहनत कर रहे हैं तो वही इस चौराहे पर तैनात पुलिस कर्मियों और होमगॉर्ड्स के जवानो के सामने ही ई- रिक्शा चालक और ऑटो रिक्शा चालक नियमों की ध्वजियां उड़ाते हुए वी.आई.पी. रोड पर अपने वाहनों को बेतरतीब ढंग से खड़ा कर पुरे चौराहे के यातायात को प्रभवित कर रहे हैं इतना ही नहीं स्टॉप लाइन और ज़ेबरा क्रासिंग के ऊपर भी कई वाहन ऐसे खड़े नज़र आ जाते हैं जैसे ये लाइन ही उनकी वी.आई.पी.पार्किंग हो और वहां खड़े होमगॉर्ड के जवान अपने मोबाइल में व्यस्त नज़र आते हैं।



आधी से ज्यादा सड़क पर ऑटो और ई-रिक्शा का कब्ज़ा


कुछ समय पहले यहाँ ट्रैफिक लाइट लग जाने से जनता को घंटों लगने वाले जाम से निजात तो मिली पर ग्रीन सिग्नल होने के बाद भी वी.आई.पी. रोड पर जाने वाले मुसाफिरों के लिए ऑटो और ई-रिक्शा चालक उनके लिए रेड सिग्नल की भूमिका निभा रहे हैं।


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